बरेली में आला हजरत के उर्स में बवाल:लोग बोले- पुलिस ने हिंदुओं को सड़क पर दौड़ा-दौड़ाकर पीटा

बरेली में मंगलवार शाम आला हजरत के 107वें उर्स के दौरान चादर जुलूस के दौरान दो समुदाय आमने-सामने आ गए। आरोप है कि नई परंपरा बताकर कुछ लोगों ने जुलूस का विरोध किया। इस पर पुलिस ने लाठीचार्ज कर दिया। जैसे ही इसकी जानकारी हिंदू संगठनों को हुई तो तमाम लोग मौके पर पहुंच गए। लोगों का कहना है कि क्षेत्र के खजूरिया जुल्फिकार गांव में आला हजरत के उर्स पर चादरों का जुलूस निकाला जा रहा था। हिंदुओं ने कहा, ये नई परम्परा है, इसलिए जुलूस नहीं निकलने देंगे। जिस पर मुस्लिम समुदाय के लोगों ने हिंदुओं के साथ मारपीट की और फिर पुलिस ने भी हिंदुओं को दौड़ा-दौड़ा कर पीटा। इस घटना में करीब 12 लोगों के चोटें आई है। लाठीचार्ज के दौरान राजू सागर नाम के एक युवक का सिर भी फट गया। हिंदुओं का कहना है कि दोषी पुलिसकर्मियों के खिलाफ कार्रवाई होनी चाहिए। मामला इज्जतनगर थाना क्षेत्र का है। हिंदू संगठनों के नेता पहुंचे मौके पर विश्व हिंदू परिषद के अध्यक्ष संजय शुक्ला ने कहा, पुलिस ने हिंदुओं का उत्पीड़न किया है। पुलिस वालो ने बेरहमी से पीटा है।उच्चाधिकारियों को दोषी पुलिसकर्मियों पर कार्रवाई करनी चाहिए। अगर कार्रवाई नहीं होती है तो हम लोग आंदोलन करेंगे। हिंदू महासभा के मंडल अध्यक्ष पंकज पाठक ने कहा, ये पुलिस प्रशासन की तानाशाही है। हिंदुओं पर योगी सरकार में लाठीचार्ज बहुत ही शर्मनाक घटना है। खबर अपडेट हो रही है.....

Aug 19, 2025 - 18:33
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बरेली में आला हजरत के उर्स में बवाल:लोग बोले- पुलिस ने हिंदुओं को सड़क पर दौड़ा-दौड़ाकर पीटा
बरेली में आला हजरत के उर्स में बवाल:लोग बोले- पुलिस ने हिंदुओं को सड़क पर दौड़ा-दौड़ाकर पीटा

बरेली में आला हजरत के उर्स में बवाल: लोगों का आरोप, पुलिस ने हिंदुओं को सड़क पर दौड़ा-दौड़ाकर पीटा

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बरेली में मंगलवार शाम को आला हजरत के 107वें उर्स के दौरान एक विवाद उत्पन्न हो गया, जिससे स्थिति तनावपूर्ण हो गई। इस घटना के दौरान, चादर जुलूस के कुछ सदस्यों और हिंदू समुदाय के बीच मतभेद हो गए, जिससे जुलूस में हिंसा भड़क गई। बरेली के खजूरिया जुल्फिकार गांव में हुई इस घटना से लोग आक्रोशित हैं और आरोप लगा रहे हैं कि पुलिस ने उचित कार्रवाई करने के बजाय हिंदुओं को सड़कों पर दौड़ा-दौड़ा कर पीटा।

घटनाक्रम की जानकारी

घटना उस समय शुरू हुई जब चादर जुलूस के कुछ सदस्यों ने कह दिया कि यह एक नई परंपरा है, जिससे हिंदू समुदाय के लोग असहमत थे। जैसे ही उर्स का जुलूस चल रहा था, पुलिस ने हस्तक्षेप करते हुए लाठीचार्ज किया। इससे हिंदू संगठनों के सदस्यों में आक्रोश फैल गया और उन्होंने मौके पर पहुंचकर अपनी आवाज उठाई। इस बवाल में करीब 12 लोग घायल हुए हैं, जिसमें राजू सागर नामक युवक का सिर फट गया। 

हिंदू संगठनों का बयान

हिंदू संगठनों जैसे विश्व हिंदू परिषद (व्हीएचपी) के अध्यक्ष संजय शुक्ला ने इस पूरे घटनाक्रम को पुलिस की गलती बताया है। उन्होंने कहा, "पुलिस ने हिंदुओं का उत्पीड़न किया है। उच्च अधिकारियों को दोषी पुलिसकर्मियों के खिलाफ कार्रवाई करनी चाहिए। यदि कार्रवाई नहीं होती है, तो हम आंदोलन करेंगे।" 

हिंदू महासभा के मंडल अध्यक्ष पंकज पाठक ने भी पुलिस की कार्रवाई को तानाशाही बताते हुए इसे शर्मनाक कहा है। उन्होंने कहा, "योगी सरकार के तहत हिंदुओं पर लाठीचार्ज करना अस्वीकार्य है।"

पुलिस की प्रतिक्रिया

हालांकि, पुलिस ने स्थिति को नियंत्रण में लाने का प्रयास किया और कहा है कि उन्होंने केवल सुरक्षा के लिए आवश्यक कार्रवाई की। लेकिन, स्थानीय निवासियों का कहना है कि पुलिस ने उनके साथ अत्यधिक बल प्रयोग किया है, जो कि अत्यधिक चिंताजनक है। 

समुदायों के बीच तनाव

दोनों समुदाय के नेताओं ने एक-दूसरे पर आरोप-प्रत्यारोप लगाना शुरू कर दिया है, जिससे क्षेत्र में तनाव बढ़ गया है। इस प्रकार की घटनाएं समुदायों के बीच सामंजस्य को प्रभावित कर सकती हैं, इसलिए इससे बचने के लिए सभी को संवाद की आवश्यकता है।

निष्कर्ष

इस बवाल ने एक बार फिर यह दर्शा दिया कि धार्मिक आयोजनों के दौरान उचित संवाद और सहकार्य की कितनी आवश्यकता होती है। समाज में चाहिए कि हम सभी मिलकर शांति स्थापित करें और एक-दूसरे की धार्मिक भावनाओं का सम्मान करें। बरेली की इस घटना पर आगे क्या कार्रवाई होती है, यह देखना महत्वपूर्ण होगा।

खबर अपडेट हो रही है। इस विषय पर और अधिक जानकारी के लिए, कृपया हमारी वेबसाइट पर जाएं: avpganga.com

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