इंडियन आर्मी और एयरफोर्स को 200 नए हल्के हेलिकॉप्टर मिलेंगे:सेना को 120 और 80 वायुसेना को मिलेंगे, पुराने चेतक-चीता हेलिकॉप्टर रिटायर होंगे
इंडियन आर्मी और एयरफोर्स अपने पुराने चेतक और चीता हेलिकॉप्टरों को हटाकर करीब 200 नए हल्के हेलिकॉप्टर खरीदने की तैयारी कर रही है। इसके लिए रक्षा मंत्रालय ने रिक्वेस्ट फॉर इन्फॉर्मेशन (RFI) जारी किया है। इन नए हेलिकॉप्टरों को रिकॉनेसेन्स और सर्विलांस हेलिकॉप्टर (RSH) के तौर पर बांटा गया है। इनमें से 120 हेलिकॉप्टर भारतीय सेना और 80 हेलिकॉप्टर वायुसेना को दिए जाएंगे। ये हेलिकॉप्टर दिन और रात दोनों समय में काम कर सकेंगे। रक्षा मंत्रालय का उद्देश्य तकनीकी जरूरतें तय करना, खरीद प्रक्रिया पर निर्णय लेना और संभावित आपूर्तिकर्ताओं की पहचान करना है। इसमें भारतीय कंपनियों को भी शामिल किया जाएगा जो विदेशी कंपनियों (OEMs) के साथ साझेदारी करके हेलिकॉप्टर बना सकें। इनका उपयोग कई अन्य कामों के लिए किया जाएगा, जैसे... डिफेंस मिनिस्ट्री और भी हेलिकॉप्टर खरीदेगा डिफेंस मिनिस्ट्री ने अन्य प्लेटफॉर्म के साथ और भी यूटिलिटी हेलिकॉप्टर खरीदने की योजना बनाई है। संसद में पेश रक्षा मामलों की स्थायी समिति की रिपोर्ट के अनुसार, निम्न-स्तरीय रडार, हल्के लड़ाकू विमान (LCA), मल्टी-रोल हेलिकॉप्टर, और मिड-एयर रिफ्यूलिंग एयरक्राफ्ट भी खरीदे जाएंगे। इसके अलावा, मंत्रिमंडल की सुरक्षा समिति ने हाल ही में हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (HAL) से 156 हल्के लड़ाकू हेलिकॉप्टर खरीदने की मंजूरी दी है, जिसकी कीमत 45,000 करोड़ रुपये से ज्यादा बताई जा रही है। ये हेलिकॉप्टर भी सेना और वायुसेना में बांटे जाएंगे और चीन-पाकिस्तान सीमा पर तैनात होंगे। रक्षा मंत्रालय के मुताबिक, यह कदम ‘आत्मनिर्भर भारत’ की दिशा में भी एक बड़ा प्रयास है। भारतीय वायुसेना देश में ही लड़ाकू विमान, ट्रांसपोर्ट एयरक्राफ्ट, हेलिकॉप्टर, ट्रेनर विमान, मिसाइल, ड्रोन और रडार बनाने पर जोर दे रही है, ताकि रक्षा क्षेत्र में आत्मनिर्भरता हासिल की जा सके। भारत ने अमेरिका से हथियार-विमानों की खरीद रोकी, रक्षा मंत्री का अमेरिका दौरा भी रद्द टैरिफ विवाद के बीच भारत ने अमेरिका से नए हथियार और विमान खरीद की योजना रोक दी है। न्यूज एजेंसी रॉयटर्स ने 3 भारतीय अफसरों के हवाले से यह जानकारी दी है। ट्रम्प के 50% टैरिफ लगाने के बाद इसे भारत की पहली ठोस प्रतिक्रिया माना जा रहा है। रॉयटर्स की रिपोर्ट के मुताबिक भारतीय रक्षा मंत्री आने वाले हफ्तों में डिफेंस डील के लिए अमेरिका जाने वाले थे। अब यह दौरा रद्द कर दिया गया है। भारत अमेरिका से P8i निगरानी विमान, स्ट्राइकर कॉम्बैट व्हीकल्स और जैवलिन एंटी टैंक मिसाइल खरीदने वाला था। टैरिफ के चलते यह सौदा भी रोक दिया गया है। पूरी खबर पढ़ें...

इंडियन आर्मी और एयरफोर्स को 200 नए हल्के हेलिकॉप्टर मिलेंगे
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इंडियन आर्मी और एयरफोर्स अपने पुराने चेतक और चीता हेलिकॉप्टरों को हटाकर करीब 200 नए हल्के हेलिकॉप्टर खरीदने की तैयारी कर रही है। इसका उद्देश्य रक्षा क्षेत्र में आत्मनिर्भरता बढ़ाना और सेना व वायुसेना के आधुनिककरण को मजबूती देना है।
सेना को 120 और वायुसेना को 80 हेलिकॉप्टर
रक्षा मंत्रालय ने हाल ही में रिक्वेस्ट फॉर इन्फॉर्मेशन (RFI) जारी किया है, जिसके तहत ये नए हेलिकॉप्टर भारतीय सेना और वायुसेना को प्रदान किए जाएंगे। इसमें 120 हेलिकॉप्टर भारतीय सेना के लिए और 80 हेलिकॉप्टर वायुसेना के लिए शामिल होंगे। ये हेलिकॉप्टर दिन और रात दोनों समय में कार्य करने में सक्षम होंगे, जिससे विभिन्न सैन्य ऑपरेशनों में उनकी प्रभावशीलता बढ़ेगी।
नया तकनीकी दृष्टिकोण
इन नए हेलिकॉप्टरों को रिकॉनेसेन्स और सर्विलांस हेलिकॉप्टर (RSH) के तौर पर बांटा गया है। रक्षा मंत्रालय का उद्देश्यों में तकनीकी जरूरतों को निर्धारित करना, खरीद प्रक्रिया पर निर्णय लेना और संभावित आपूर्तिकर्ताओं की पहचान करना शामिल है। इसमें भारतीय कंपनियों को भी शामिल किया जाएगा जो विदेशी कंपनियों (OEMs) के साथ मिलकर हेलिकॉप्टर विकसित कर सकें।
अन्य खरीददारी की योजनाएँ
डिफेंस मिनिस्ट्री ने अन्य प्लेटफॉर्म के साथ और भी यूटिलिटी हेलिकॉप्टर खरीदने की योजना बनाई है। संसद में पेश रक्षा मामलों की समिति की रिपोर्ट के अनुसार, निम्न-स्तरीय रडार, हल्के लड़ाकू विमान (LCA), मल्टी-रोल हेलिकॉप्टर, और मिड-एयर रिफ्यूलिंग एयरक्राफ्ट भी खरीदे जाएंगे। इसके अलावा, हाल ही में हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (HAL) से 156 हल्के लड़ाकू हेलिकॉप्टर खरीदने को लेकर मंजूरी दी गई है। यह कदम ‘आत्मनिर्भर भारत’ की दिशा में उठाया गया महत्वपूर्ण कदम है।
भारत की सुरक्षा रणनीतियों में परिवर्तन
भारतीय वायुसेना ने घोषणा की है कि वह देश में ही लड़ाकू विमान, ट्रांसपोर्ट एयरक्राफ्ट, हेलिकॉप्टर, तथा अन्य अग्नि प्रणाली विकसित करने पर जोर दे रही है। यह भारतीय रक्षा क्षेत्र में आत्मनिर्भरता को बढ़ाने का एक महत्वपूर्ण प्रयास है।
अमेरिका से हुए सौदों में बटनुकी
हाल ही में, भारत ने अमेरिका से नए हथियारों की खरीद पर रोक लगा दी है। यह निर्णय ट्रम्प के द्वारा लगाए गए 50% टैरिफ के फलस्वरूप लिया गया है। भारतीय रक्षा मंत्री अमेरिका में डिफेंस डील के लिए जाने वाले थे, लेकिन अब यह दौरा रद्द कर दिया गया है। भारत की इस प्रतिक्रिया को अमेरिका के साथ रक्षा संबंधों पर पड़ने वाले संभावित प्रभाव को दर्शाता है।
निष्कर्ष
भारत के रक्षा मंत्रालय द्वारा घोषित नए हेलिकॉप्टरों की खरीद देश की सुरक्षा और आत्मनिर्भरता को बढ़ाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। यह कदम न सिर्फ भारतीय सैन्य क्षमताओं को बढ़ाएगा, बल्कि घरेलू उद्योग को भी समर्थन देगा। आर्थिक दृष्टिकोण से, यह कदम देश के लिए महत्वपूर्ण साबित हो सकता है।
लेखक: अंजलि शर्मा, स्नेहा चौधरी, एवं टीम avpganga
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