अहमदाबाद प्लेन क्रैश-पायलट संगठन ने जांच रिपोर्ट पर उठाए सवाल:कहा- जल्दबाजी में आरोप लगाना गलत; मीडिया गलतफहमी फैलाने से बचे

एयर इंडिया के विमान हादसे की शुरुआती जांच रिपोर्ट को लेकर पायलटों के संगठन फेडरेशन ऑफ इंडियन पायलट्स (FIP) ने आपत्ति जताई है। संगठन ने कहा कि बिना पूरी और पारदर्शी जांच के पायलटों पर दोष डालना जल्दबाजी और गैर-जिम्मेदाराना है। FIP ने बुधवार को बयान जारी कर मीडिया, अधिकारियों और अन्य लोगों से अपील की कि वह अधूरी जानकारी या गलतफहमियों को फैलाने से बचें। दरअसल, जांच एजेंसी AAIB की रिपोर्ट में कहा गया है कि टेकऑफ के ठीक बाद एक सेकंड बाद दोनों इंजनों के फ्यूल स्विच बंद हो गए थे, जिससे ये हादसा हुआ। 12 जून को अहमदाबाद से लंदन जा रही फ्लाइट AI 171 टेकऑफ के कुछ ही देर बाद एक मेडिकल हॉस्टल की इमारत से टकरा गई थी। इसमें 270 लोगों की मौत हो गई थी। FIP बोला- पायलटों की छवि खराब करने की कोशिश FIP अध्यक्ष सीएस रंधावा ने कहा कि पायलट संगठनों को जांच में शामिल नहीं किया गया और रिपोर्ट को जिस तरह से पेश किया गया है, वह एकतरफा और अधूरी है। उन्होंने कहा कि रिपोर्ट में सिर्फ कॉकपिट की बातचीत के कुछ हिस्सों को चुनकर पेश किया गया है और पायलटों की छवि खराब करने की कोशिश हो रही है। FIP ने कहा कि अभी जांच पूरी नहीं हुई है, इसलिए आम जनता किसी भी नतीजे पर न पहुंचे। संगठन ने यह भी कहा कि मीडिया में हो रही चर्चा पायलटों के परिवारों को मानसिक तनाव दे रही हैं। FIP ने मांग की कि जांच निष्पक्ष, पारदर्शी और पूरी तरह तथ्यों पर आधारित होनी चाहिए और तभी कोई निष्कर्ष निकाला जाए। संगठन ने पायलटों और उनके परिवारों के साथ एकजुटता भी जताई। मामले में एक्सपर्ट्स के बयान पढ़ें ... रिपोर्ट- चेतावनी के बावजूद उड़ा ड्रीमलाइनर अहमदाबाद प्लेन हादसे को लेकर एयरक्राफ्ट एक्सीडेंट इन्वेस्टिगेशन ब्यूरो (AAIB) ने शुरुआती जांच रिपोर्ट शुक्रवार रात करीब ढाई बजे जारी की। भारत सरकार की यह संस्था हवाई हादसों की जांच करती है। AAIB की रिपोर्ट में कहा गया है कि AI-171 कोड के साथ लंदन जाने वाले एअर इंडिया ड्रीमलाइनर ने पिछली उड़ान दिल्ली से अहमदाबाद के बीच भरी थी। उड़ान के ठीक बाद पायलट ने ‘STAB POS XDCR’ नाम का तकनीकी अलर्ट दर्ज कराया था। इस अलर्ट का मतलब है कि विमान का संतुलन बताने वाला सेंसर फेल हो सकता है। यह सेंसर बताता है कि विमान का हॉरिजेंटल स्टेबलाइजर (पिच बैलेंस बनाने वाला पिछला पंख) किस स्थिति में है। यदि यह डेटा सही न मिले, तो ऑटोपायलट, पिच कंट्रोल और स्टॉल प्रोटेक्शन जैसे अहम सिस्टम गलत कमांड देने लगते हैं। विशेषकर टेकऑफ और शुरुआती चढ़ाई जैसे क्रिटिकल फेज में यह गलती हो सकती है। क्रिटिकल अलर्ट के एक घंटे बाद उड़ान भरने की इजाजत पायलट ने सुबह 11:17 बजे यह अलर्ट दिया ​था और 12:40 बजे विमान को उड़ान की मंजूरी दे दी गई। यानी महज एक घंटे में गड़बड़ी दूर करने का दावा करके विमान को उड़ान के लिए क्लियर कर दिया गया। इसी विमान ने दोपहर 1:38 बजे अहमदाबाद से लंदन के लिए टेकऑफ किया और महज 30 सेकेंड बाद दोनों इंजन बंद होने से यह एयरपोर्ट के पास बने मेडिकल हॉस्टल बिल्डिंग पर क्रैश हो गया। हादसे में विमान 241 लोगों समेत कुल 270 लोग मारे गए थे। विमान में केवल एक यात्री जिंदा बचा था। हादसे की शुरुआती रिपोर्ट को लेकर सरकार ने कहा है कि इस पर स्टडी की जा रही है। इस पर अभी कोई निष्कर्ष न निकाला जाए। टेकऑफ के 3 सेकेंड में ही दोनों इंजन के फ्यूल स्विच बंद हुए अहमदाबाद में क्रैश एअर इंडिया विमान के साथ आखिरी पलों में क्या हुआ था? एयरक्राफ्ट एक्सीडेंट इन्वेस्टिगेशन ब्यूरो (एएआईबी) ने 15 पेज की शुरुआती रिपोर्ट में इसका उल्लेख किया है। इसके अनुसार दोनों पायलट अनुभवी और उड़ान के लिए फिट थे। विमान भी फिट था। कुछ समय पहले इंजन बदले थे। हालांकि उड़ान भरने के 3 सेकेंड में ही फ्यूल स्विच बंद हो गए। रिपोर्ट किसी निष्कर्ष पर नहीं पहुंची है, लेकिन जांच की दिशा काफी हद तक स्पष्ट हो रही है। इंजन फ्यूल कट ऑफ होना असामान्य है। ऐसे में, तकनीकी या मानवीय चूक दोनों पर जांच बढ़ेगी। क्रिटिकल रिकवरी सिस्टम फेल या देर से एक्टिव होना भी जांच के दायरे में है। आइए विस्तार से जानते हैं रिपोर्ट में क्या-क्या कहा गया है... विमान हादसे की जांच रिपोर्ट के अहम पॉइंट्स पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें.... -------------------------------- मामले से जुड़ी ये खबर भी पढ़ें... अहमदाबाद विमान हादसे की जांच में छह ब्लाइंड स्पॉट्स:फ्यूल स्विच कैसे बंद हुआ अहमदाबाद में 12 जून को टेकऑफ के महज 32 सेकेंड के भीतर क्रैश हुई एअर इंडिया की फ्लाइट बोइंग AI-171 की प्रारंभिक जांच रिपोर्ट भले सार्वजनिक हो चुकी हो, लेकिन इसके नतीजों ने कई तीखे सवाल खड़े किए हैं। ऐसे में विमानन दुर्घटना जांच ब्यूरो (AAIB) अपनी अंतिम रिपोर्ट को लेकर अतिरिक्त सतर्कता बरत रहा है। पूरी खबर देखें... एअर इंडिया ने 4 कर्मचारियों से इस्तीफा मांगा, अहमदाबाद प्लेन क्रैश के 8 दिन बाद मनाया था जश्न एअर इंडिया ने अपने ग्राउंड हैंडलिंग वेंचर AISATS के 4 कर्मचारियों को इस्तीफा देने के लिए कहा है। ये कार्रवाई इनकी एक पार्टी का वीडियो वायरल होने के बाद की गई। इन कर्मचारियों ने अहमदाबाद प्लेन हादसे के 8 दिन बाद यह पार्टी की थी। पूरी खबर देखें...

Jul 17, 2025 - 00:33
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अहमदाबाद प्लेन क्रैश-पायलट संगठन ने जांच रिपोर्ट पर उठाए सवाल:कहा- जल्दबाजी में आरोप लगाना गलत; मीडिया गलतफहमी फैलाने से बचे
अहमदाबाद प्लेन क्रैश-पायलट संगठन ने जांच रिपोर्ट पर उठाए सवाल:कहा- जल्दबाजी में आरोप लगाना गलत; म�

अहमदाबाद प्लेन क्रैश-पायलट संगठन ने जांच रिपोर्ट पर उठाए सवाल: कहा- जल्दबाजी में आरोप लगाना गलत; मीडिया गलतफहमी फैलाने से बचे

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एयर इंडिया के विमान हादसे की शुरुआती जांच रिपोर्ट को लेकर पायलटों के संगठन फेडरेशन ऑफ इंडियन पायलट्स (FIP) ने आपत्ति जताई है। संगठन ने कहा कि बिना पूरी और पारदर्शी जांच के पायलटों पर दोष डालना जल्दबाजी और गैर-जिम्मेदाराना है। यह विवादास्पद रिपोर्ट उस समय सामने आई है जब सामाजिक मीडिया और समाचार चैनलों पर इस मामले की व्यापक चर्चा हो रही है, जिससे गलतफहमियों का जन्म हो रहा है।

अहमदाबाद फ्लाइट AI-171 का दुर्भाग्यपूर्ण हादसा

12 जून को, एयर इंडिया की फ्लाइट AI 171 ने अहमदाबाद से लंदन के लिए टेकऑफ करते ही गंभीर हादसे का सामना किया, जब यह एक मेडिकल हॉस्टल की इमारत से टकरा गई। इस घटना में 270 लोगों की मौत हो गई और केवल एक यात्री को बचाया जा सका। हादसे के बाद, जांच एजेंसी एयरक्राफ्ट एक्सीडेंट इन्वेस्टिगेशन ब्यूरो (AAIB) ने इस मामले की जांच शुरू की और अपनी प्रारंभिक रिपोर्ट जारी की।

FIP की चिंताएँ और मांगें

FIP अध्यक्ष सीएस रंधावा ने गंभीर रूप से कहा कि पायलट संगठनों को जांच में शामिल नहीं किया गया। उनके अनुसार, रिपोर्ट को जिस तरह से प्रस्तुत किया गया है, वह एकतरफा और अधूरी है। उन्होंने कहा कि रिपोर्ट में कॉकपिट की बातचीत के कुछ हिस्सों को चुनकर पेश किया गया है, जो पायलटों की छवि को नुकसान पहुंचा रहे हैं। FIP ने अपील की है कि मीडिया और अधिकारियों को अधूरी जानकारी या गलतफहमियों को फैलाने से बचना चाहिए।

अनुमान और तकनीकी पहलू

AAIB की रिपोर्ट में उल्लेख किया गया है कि टेकऑफ के ठीक एक सेकंड बाद दोनों इंजनों के फ्यूल स्विच बंद हो गए थे, जो इस हादसे का मुख्य कारण बना। जानकारों के अनुसार, इस प्रकार का तकनीकी गलती विशेष रूप से टेकऑफ के क्रिटिकल फेज में हो सकती है। रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि पायलट अनुभवी और उड़ान के लिए पूरी तरह से फिट थे, और विमान के इंजनों को हाल ही में बदला गया था।

मीडिया की भूमिका और जिम्मेदारी

FIP ने इस बात पर जोर दिया है कि मीडिया को इस प्रकार के मामलों में जिम्मेदारी से रिपोर्टिंग करनी चाहिए। क्योंकि, बिना ठोस सबूत के पायलटों पर आरोप लगाने से उनके परिवारों पर मानसिक तनाव पड़ सकता है। संगठन ने मांग की कि जांच निष्पक्ष और पारदर्शी होनी चाहिए ताकि सही तथ्यों पर आधारित निष्कर्ष निकाले जा सकें।

निष्कर्ष

अहमदाबाद प्लेन क्रैश की जांच रिपोर्ट पर उठते सवाल केवल पायलटों तक सीमित नहीं हैं, बल्कि यह विमानन सुरक्षा और मीडिया की रिपोर्टिंग की जिम्मेदारी पर भी सवाल खड़े करते हैं। जैसे ही आगे की जांच चल रही है, सभी की नजरें इस पर रहेंगी कि क्या सच में पायलटों पर दोष लगाया जाना उचित था या नहीं। इस मामले में आगे की घटनाओं और निष्कर्षों की प्रतीक्षा की जा रही है।

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